एक व्यक्ति मरकर ऊपर पहुँचा तो स्वर्ग द्वार पर
उसे स्वयं चित्रगुप्त मिले।
चित्रगुप्त बोले- " तुम एक शर्त पर भीतर आ
सकते हो।
व्यक्ति:- 'कौन सी शर्त भगवन?"
चित्रगुप्त :- 'तुम्हे एक शब्द जो कि, फिरंगी
जुबान का है, की स्पैलिंग ठीक-ठीक बतानी
होगी।
व्यक्ति:- 'कौन सा शब्द भगवान?
चित्रगुप्त :- 'लव!'
व्यक्ति:- "L-O-V-E"
चित्रगुप्त :- ' बहुत अच्छा, तुम भीतर आ सकते
हो!'
वो व्यक्ति भीतर दाखिल हो गया, तभी चित्रगुप्त
का मोबाइल बज उठा।
चित्रगुप्त :- 'हमें भगवान् बुला रहे है. तुम एक
मिनट द्वार पर निगाह रखना हम अभी लौट के
आते हैं।
व्यक्ति:- 'जो आज्ञा भगवन !'
चित्रगुप्त :- 'हमारी अनुपस्थिति में अगर कोई
और प्राणी यहाँ पहुच जाए तो उसको प्रवेश देने से
पहले उससे लव' शब्द की स्पेलिंग जरुर पूछना,
अगर वो भी तुम्हारी तरह स्पेलिंग ठीक बताये तो
ही उसे भीतर आने देना।"
अन्यथा उसे सामने के द्वार से नर्क भेज देना।
व्यक्ति:-'ठीक हैं।"
इतना कह कर चित्रगुप्त चले गए और वो व्यक्ति
द्वार पर पहरा देने लगा!
तभी एक स्त्री .वहाँ पहुची!
वो व्यक्ति ये देखकर बहुत हैरान हुआ कि वो
उसकी बीवी थी।
वो बोला- अरी गुड्डी. तू यहाँ कैसे पहुच गयी ?"
गुडी :- 'तुम्हारे अंतिम संस्कार के बाद जब मैं
श्मशान घाट से लौट रही थी तब एक ब्लू लाइन
बस ने मुझे कुचल दिया, उसके बाद जब मुझे होश
आया तो मैं यहाँ खड़ी थी। अब हटो मुझे भीतर
आने दो।"
व्यक्ति :- " ऐसे नहीं, भगवान के यहाँ के नियम
के अनुसार, पहले तुझे एक शब्द की स्पेलिंग
ठीक-ठीक बतानी होगी, तभी तुम यहाँ अन्दर आ
सकती हो । नहीं तो तुम्हें सामने के द्वार से जाना
होगा।
।
गुड्डी:- "कौन सा शब्द?
व्यक्ति :- "हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन'
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